Voter Adhikar Yatra: बिहार चुनाव 2025 महागठबंधन CM उम्मीदवार पर सस्पेंस लगातार बढ़ रहा है। राहुल गांधी इन दिनों ‘वोटर अधिकार यात्रा’ के जरिए राज्य के जिलों का दौरा कर रहे हैं। रविवार, 24 अगस्त को अररिया में आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में उनसे सीधे पूछा गया कि महागठबंधन का मुख्यमंत्री चेहरा कौन होगा। उनके साथ तेजस्वी यादव और INDIA ब्लॉक के अन्य नेता भी मंच पर मौजूद थे। राहुल ने इस सवाल पर सीधा जवाब देने से परहेज किया और केवल गठबंधन की मजबूती पर जोर दिया। उनकी चुप्पी ने राजनीतिक हलचल और तेज कर दी है।

चुनाव आयोग पर राहुल गांधी का हमला
प्रेस कॉन्फ्रेंस की शुरुआत में राहुल गांधी ने भारतीय चुनाव आयोग पर गंभीर आरोप लगाए। उन्होंने कहा कि बिहार में चल रहा स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन (SIR) संस्थागत वोट चोरी का तरीका है। राहुल ने आरोप लगाया, “लाखों मतदाताओं के नाम सूची से काट दिए गए, विपक्ष लगातार शिकायत कर रहा है। लेकिन भाजपा की ओर से एक भी आपत्ति नहीं आई। चुनाव आयोग, मुख्य चुनाव आयुक्त और भाजपा के बीच पार्टनरशिप है।” राहुल के इन बयानों से साफ था कि वह बिहार चुनाव को लेकर बेहद आक्रामक रणनीति अपना रहे हैं।
महागठबंधन का CM चेहरा क्यों फंसा
बिहार चुनाव 2025 महागठबंधन CM उम्मीदवार का सवाल और बड़ा हो गया जब राहुल गांधी ने तेजस्वी यादव के नाम पर चुप्पी साध ली। उन्होंने गठबंधन की एकजुटता पर जोर देते हुए कहा, “बहुत अच्छे तरीके से एक पार्टनरशिप बनी है। सारी की सारी पार्टियां एक साथ जुड़कर काम कर रही हैं। कोई टेंशन नहीं है और म्यूचुअल रिस्पेक्ट है। एक दूसरे की मदद हो रही है, तो मजा भी आ रहा है। आईडियोलॉजिकली हम साथ हैं। पॉलिटिकली साथ हैं तो बहुत अच्छा रिजल्ट आएगा। मगर वोट चोरी को रोकना है।” हालांकि तेजस्वी यादव पहले ही साफ कर चुके हैं कि अगर इंडिया ब्लॉक केंद्र में सरकार बनाता है तो राहुल गांधी प्रधानमंत्री होंगे। लेकिन बिहार में सीएम फेस को लेकर कांग्रेस का रुख अब तक सामने नहीं आया।
गंभीर राजनीतिक सवालों के बीच प्रेस वार्ता में एक हल्का पल भी देखने को मिला। तेजस्वी यादव ने चिराग पासवान को शादी की सलाह देते हुए कहा, “चिराग हमारे बड़े भाई हैं, हम सलाह जरूर देंगे कि जल्द से जल्द शादी कर लें।” इस पर राहुल गांधी ने मुस्कुराते हुए जवाब दिया, “ये तो मेरे ऊपर भी लागू होता है।” तेजस्वी ने तुरंत चुटकी ली, “वो तो पापा (लालू यादव) कब से कह रहे हैं आपको।”

कांग्रेस की चुप्पी से बढ़ा सस्पेंस
तेजस्वी यादव अपने बयान से साफ कर चुके हैं कि उनका समर्थन राहुल गांधी के नेतृत्व को लेकर है। लेकिन कांग्रेस की ओर से बिहार चुनाव 2025 महागठबंधन CM उम्मीदवार पर स्थिति अब भी स्पष्ट नहीं है। राहुल गांधी ने किसी नाम का ऐलान नहीं किया, जिससे सस्पेंस और गहरा हो गया। राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि कांग्रेस फिलहाल सीट बंटवारे और रणनीतिक मुद्दों पर ध्यान केंद्रित करना चाहती है। लेकिन चुनाव करीब आते ही मुख्यमंत्री उम्मीदवार का सवाल टालना मुश्किल होगा।

वोटर अधिकार यात्रा और चुनावी समीकरण
17 अगस्त को सासाराम से शुरू हुई राहुल गांधी की ‘वोटर अधिकार यात्रा’ लगभग 1,300 किलोमीटर लंबी है। यह 20 से अधिक जिलों से होकर गुजर रही है और 1 सितंबर को पटना में एक बड़ी रैली के साथ समाप्त होगी। इस यात्रा का मकसद मतदाताओं से सीधा जुड़ाव और भाजपा सरकार की नीतियों के खिलाफ माहौल बनाना है। राहुल और तेजस्वी लगातार एक मंच साझा कर रहे हैं, जिससे महागठबंधन की मजबूती का संदेश जनता तक पहुंच रहा है। लेकिन मुख्यमंत्री उम्मीदवार पर जारी सस्पेंस ने इस यात्रा को और चर्चाओं के केंद्र में ला दिया है। फिलहाल सबकी निगाहें कांग्रेस और राहुल गांधी के अगले कदम पर टिकी हैं।

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